क्या Ceasefire के पीछे पाकिस्तान की पुरानी चाल है? भारत ने दिखाया असली दम
भारत और पाकिस्तान के बीच जारी तनाव एक बार फिर सीजफायर की घोषणा तक पहुंच गया, लेकिन क्या यह सीजफायर स्थायी होगा या फिर एक बार फिर पाकिस्तान अपनी पुरानी आदतों पर लौटेगा?

जब पाकिस्तान ने सीजफायर के लिए भारत को फोन किया, तो बहुत से भारतीयों के दिमाग में एक ही डायलॉग घूम गया—“जिंदगी झंड बा, फिर भी घमंड बा”। बार-बार की तरह, पाकिस्तान ने पहले आतंकवाद का सहारा लिया, और जब भारतीय सेना ने करारा जवाब दिया, तब वह अमेरिका के दरवाजे पर मदद की भीख मांगने पहुंच गया।
इतिहास दोहराता रहा है
पाकिस्तान की यह चाल कोई नई नहीं है।
- 1947: युद्ध शुरू किया, हार गया
- 1965: भारत लाहौर तक पहुंच गया
- 1971: 93,000 पाकिस्तानी सैनिकों ने आत्मसमर्पण किया
- 1999: कारगिल में मुंह की खाई
- 2025: भारत ने पहली बार किसी परमाणु शक्ति के एयरबेस पर हमला करके इतिहास रच दिया
हर बार पाकिस्तान बड़ा दावा करता है, और जब भारत से करारा जवाब मिलता है, तो वह “मानवता” की दुहाई देता है और बातचीत की गुहार लगाने लगता है।
2025 का युद्ध: एक निर्णायक पल
2025 में जो हुआ, वह अभूतपूर्व था।
भारत ने आतंकवाद का जवाब आतंकवाद से नहीं, सीधे पाकिस्तान के अंदर घुसकर एयरबेस और आतंकवादी अड्डों को तबाह करके दिया।
- नौ आतंकवादी अड्डों को नष्ट किया गया
- एयर डिफेंस सिस्टम ध्वस्त किया गया
- मसूद अजहर और हाफिज सईद जैसे आतंकियों के नेटवर्क को नुकसान हुआ
- अज़हर महमूद के पत्र से पाकिस्तान के अंदर हड़कंप मच गया
यह पहली बार था जब पाकिस्तान के आतंकी रोते हुए दिखाई दिए।
क्या भारत ने मौका गंवा दिया?
यह सवाल ज़रूर उठता है कि क्या भारत को इस बार पाकिस्तान को और कड़ा सबक नहीं सिखाना चाहिए था?
क्या यह सही वक्त नहीं था जब POK को वापस लाया जा सकता था?
हालांकि, दूसरी सोच यह भी है कि भारत ने अपना मिशन पूरा कर लिया।
पहली बार भारत ने पहल की और दुश्मन के घर में घुसकर मारा। यह सिर्फ एक सैन्य कार्रवाई नहीं थी, यह एक मजबूत संदेश था—“भारत अब बर्दाश्त नहीं करेगा।”
क्या यह सीजफायर टिकेगा?
इतिहास गवाह है कि पाकिस्तान कभी भी अपने वादों पर खरा नहीं उतरा।
- शिमला समझौते के बाद भी उसने आतंकवाद का रास्ता नहीं छोड़ा
- पुलवामा, मुंबई, संसद अटैक जैसे हमले हुए
- अब भी संभावना है कि सीजफायर के दो घंटे बाद ही फिर से झड़प शुरू हो सकती है
भारत सरकार ने भी स्पष्ट कर दिया है कि
- इंडस वाटर ट्रीटी पर पुनर्विचार होगा
- सोशल मीडिया, वीजा और व्यापार में सख्ती बरकरार रहेगी
- पाकिस्तान के नागरिकों को भारत में जगह नहीं दी जाएगी
दुनिया में भारत की छवि मजबूत हुई
इस बार युद्ध के बाद भारत की सैन्य शक्ति का लोहा पूरी दुनिया ने माना है।
- रूस के S-400 की मांग बढ़ेगी
- भारत के स्वदेशी हथियार जैसे आकाश, समर, तेजस को नई पहचान मिलेगी
- पाकिस्तान और चीन के हथियारों की पोल खुल गई है

